तेंदूखेड़ा विधानसभा चुनाव में कांग्रेस भाजपा के बीच होगा फैसला मतदाताओं द्वारा किया जायेगा भावी सरकार का फैसला

(जीवेश चौरसिया)
तेंदूखेड़ा (ईएमएस)। मां नर्मदांचल क्षेत्र में आजादी के बाद अभी तक जो चुनाव हुये है उनमें पहले विधानसभा चुनाव को बोहानी विधानसभा क्षेत्र के नाम से जाना जाता था। मां नर्मदांचल क्षेत्र की यह विधानसभा लगभग पूर्णत: ग्रामीण थी, मां नर्मदा उत्तराखण्ड, एवं दक्षिणाखण्ड के भागो में रेल्वे लाईन के किनारे करेली से गाडरवारा के बीच स्थित साथ ही एनएच 12 राजमार्ग के लेकर मदनपुर सिंदूर नदी तक दोनो किनारे सागर एवं रायसेन जिले की सीमाओं से लगे ग्रामीण क्षेत्रों का प्रतिनिधित्व करती है, तो चीचली मंडल परिक्षेत्र में छिंदवाड़ा जिले की सीमा को छूती है, यह विधानसभा में मां नर्मदा नदी मुख्य यहां की जीवन दायिनी मानी जाती है
अधिकतर विधायक सत्तारूढ़ पार्टी के
अभी तक जो भी विधानसभा चुनाव हुये है, एक आद या दो विधानसभा चुनाव को छोड़कर लगभग हर बार उसी पार्टी का विधायक बनता आ रहा है, जिसकी सरकार प्रदेश में बनती है। यह क्षेत्र अधिकतर समय कांग्रेस का कब्जा माना जाता रहा है, ग्रामीण क्षेत्रों में हमेशा कांग्रेस ने यहां पर विजय पताका हासिल की है, जब मप्र में कांग्रेस के विरोध में 1977 में लहर थी, तब भी यहां से कांग्रेस ने एतिहासिक जीत दर्ज कर सफलता प्राप्त की थी। पहली बार भाजपा के रूप मे तात्कालिक राज्यमंत्री सुजान सिंह पटैल ने 1989 की राम लहर के दौरान यहां से भाजपा के विधायक बने थे, उसके बाद 1993 में हुये मध्यावही चुनाव में कांग्रेस के प्रत्याशी दी. चन्द्रभान सिंह ने तात्कालिक राज्य मंत्री सुजान सिंह पटेल को यहां से हराया था, 1998 में भी पुन: कांग्रेस से वियज प्राप्त कर दोनो बार मंत्री बने थे। भाजपा ने यहां पर 2003 के विधानसभा चुनाव में इस क्षेत्र के युवा हदय समाट सभी के बीच लोकप्रिय व्यक्तित्व के धनी सुखदुख के साथी संजय शर्मा को टिकिट देकर फिर भाजपा की पताका लहराई थी, जो लगातार 15 वर्षो से जारी है।
दो दो बार जीते चार प्रत्याशी
इस सीट से दो दो बार जीतने में चार प्रत्याशियों को सफलता मिली है। विनय शंकर दुबे कांग्रेस 1980 व 1985 में, सुजान ंिसंह पटेल 1977 में कांग्रेस व 1990 में भाजपा इसी तरह दीवान चंद्रभान सिंह दददू भैया 1993 व 1998 में, संजय शर्मा भाजपा 2003 व 2013 में यहां से विजयी हुए हैं। वर्ष 2003 में विजयी हुए संजय शर्मा भाजपा इस सीट से विजयी होने वाले पहले युवा विधायक थे। वहीं 2008 के चुनाव में कांग्रेस के राव उदय प्रताप सिंह ने विजयी होने के बाद लोकसभा का चुनाव लडा जिसमें विजयी होने के बाद उन्होंने इस सीट से अपना त्यागपत्र दे दिया था।
तीसरे स्थान पर रहा नोटा
वही 2013 में तेन्दूखेड़ा में अब तक की सबसे बड़ी जीत भाजपा के नाम है उसके प्रत्याशी संजय शर्मा ने 44602 वोट से यह चुनाव जीता। 2013 में कुल 6 प्रत्याशी मैदान में रहे जिसम संजय शर्मा भाजपा ने 81938 वोट, सुरेन्द्र ढिमोले कांग्रेस 37336, बृजेश चंदेले सपा 2294, एङ बी.एम.कौशिक बसपा 1876, अवधेश प्रताप सिंह राकांपा 1195, बिट्टू सिंह कौरव निर्दलीय ने 937 वोट प्राप्त किये यहा तीसरे नंबर पर नोटा (कोई नहीं) 2234 मत रहा चुनाव में कुल 127810 वोट पडे।
विधायक संजय शर्मा ने बनाया सर्वाधिक मतो से जीत का रिकार्ड
यहां पर सबसे अधिक मतो से भाजपा के प्रत्याशी के रूप में संजय शर्मा को मिला है, जिन्होने ने आजादी के बाद से अभी तक हुये विधानसभा चुनाव में सर्वाधिक 44 हजार से अधिक मतो से विजयश्री प्राप्त कर एक इतिहास बनाया है। बैसे इस बार विधायक संजय शर्मा कांग्रेस की टिकिट पर विधानसभा चुनाव में मैदान में है, लगातार युवा एवं विघार्थी जीवन से ही आम जनता के बीच सतत संपर्क बनाये रहे है। संजय शर्मा एक ऐसे चिरपरिचित व्यक्तित्व के धनी है, जिनके नाम एवं प्रभाव लगभग प्रत्येक ग्राम में मतदाताओं के बीच है, हर बूथ की जनता उनके साथ सतत्् संपर्क में है, क्योकि उन्होने हमेशा दलगत राजनीति से उपर उठकर छोटे से लेकर बडे वर्ग तक के व्यक्ति के सुखदुख में सभी के प्रति सहभागिता प्रदान की है। इसका लाभ इस चुनाव में मिल रहा है। लगातार जनता के बीच निरंतर संपर्क रहने से उनके सुखदुख में सहभागी रहने से क्षेत्र की समस्याओं से रूबरू हूँ, एवं इन्होने हरसंभव उन समस्याओं को सुलझाने में सफल रहे है, आज कांग्रेस के प्रत्याशी के रूप में मैदान है।
सात प्रत्याशी चुनाव मैदान में
इस विधानसभा चुनाव में कांग्रेस भाजपा के साथ अन्य पांच उम्मीदरवार सहित कुल सात प्रत्याशी चुनाव मैदान में है, जिसमें कांग्रेस से संजय शर्मा, भाजपा से विश्वनाथ पटैल मुलायम भैया, बहुजन समाज पार्टी से कुंदनलाल सूर्यवंशी, चन्द्रमोहन बब्लू कहार निर्बल इंडियन शाषित हमारा आम दल आदमी, प्रेमनारायण कौरव आम आदमी पार्टी, नरेश जाटव निर्दलीय, मुकेश मिश्रा निर्दलीय मैदान में है। वहीं भाजपा की ओर से पूर्व जिला सहकारी बैंक के अध्यक्ष रह चुके किसान नेता विश्वनाथ पटैल मुलायम भैया चुनाव मैदान में है, पहली बार 2009 के विधानसभा उपचुनाव में चुनाव लड चुके है और लगभग 11000 मतो से भाजपा के भैयाराम पटैल से पराजित हो चुके है। 2003 में भाजपा छोड़कर कांग्रेस में चले गये थे जो कि अभी फार्म भरने के कुछ दिन पूर्व ही कांग्रेस छोड़कर भाजपा में आये है इस तरह कांग्रेस एवं भाजपा के बीच सीधा मुकाबला है, जिसका फैसला 28 नबम्बर को तेंदूखेड़ा विधानसभा के 169268 मतदाता 225 बूथ पर मत देकर करेगे। विधायक बनने के साथ ही भावी सरकार का फैसला जनता करेगी जिस पर सभी की निगाहे केन्द्रित है, 26 नबम्बर को शाम 5 चुनाव प्रचार प्रसार पूर्णत:बंद हो जायेगा।
तेन्दूखेडा विधानसभा : 1962 से 2013 तक का परिणाम
वर्ष निर्वाचित दल प्राप्त मत निकटतम दल प्राप्तमत
1962 एलए जमनिक पीएसपी 6,003 नन्ना कांग्रेस 3,020
1967 बाबूलाल जैन कांग्रेस 12,507 प्रहलाद सिंह पीएसपी 11,145
1972 लक्ष्मी खजांची कांग्रेस 16,755 भगवान शाह जनसंघ 10,028
1977 सुजान सिंह पटेल कांग्रेस 12,594 कांति चौहान जनता पार्टी 11,124
1980 विनयशंकर दुबे कांग्रेस 18,187 सुजान सिंह पटैल भाजपा 10,556
1985 विनयशंकर दुबे कांग्रेस 25,019 नारायण सिंह भाजपा 16,238
1990 सुजान सिंह पटेल भाजपा 24,899 शशिभूषण सिंह कांग्रेस 17,574
1993 चंद्रभान सिंह कांग्रेस 33,997 सुजान सिंह पटेल भाजपा 23,484
1998 चंद्रभान सिंह कांग्रेस 37,089 अमर सिंह ममार भाजपा 28,972
2003 संजय शर्मा भाजपा 56,283 चंद्रभान सिंह कांग्रेस 36,841
2008 राव उदय प्रताप सिंह कांग्रेस 44,435 संजय शर्मा भाजपा 37,810
2009
उपचुनाव भैयाराम पटेल भाजपा 52,155 विश्वनाथ सिंह पटेल कांग्रेस 39,521
2013 संजय शर्मा भाजपा 81938 सुरेन्द्र ढिमोले कांग्रेस 37336
जीवेश चौरसिया/ईएमएस/24 नवम्बर 2018